पंजाब में बीएसएफ का अधिकार क्षेत्र बढ़ाने के खिलाफ `आप’ ने पंजाब भर में मोदी और अमित शाह के पुतले फूंके

AAP
ਪੰਜਾਬ ਵਿੱਚ ਬੀ.ਐਸ.ਐਫ. ਦਾ ਅਧਿਕਾਰ ਖੇਤਰ ਵਧਾਉਣ ਵਿਰੁੱਧ ‘ਆਪ’ ਨੇ ਪੰਜਾਬ ਭਰ ’ਚ ਮੋਦੀ ਅਤੇ ਅਮਿਤ ਸ਼ਾਹ ਦੇ ਪੁਤਲੇ ਫੂਕੇ
-बीएसएफ की शक्तियों में बढ़ोतरी पंजाब के अधिकारों पर डाका और संघीय ढांचे पर हमला: हरपाल सिंह चीमा 
-मुख्यमंत्री तुरंत सभी पार्टियों की मीटिंग बुलाएं और एकजुट होकर केंद्र सरकार पर दबाव डालें 
-केंद्र के फैसले को रद्द करने के लिए तुरंत बुलाया  जाए पंजाब विधानसभा का विशेष सत्र 

चंडीगढ़, 18 अक्तूबर 2021

केंद्र सरकार द्वारा पंजाब में सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के अधिकार क्षेत्र को अंतरराष्ट्रीय सीमा से 15 किलोमीटर से बढ़ाकर 50 किलोमीटर करने के फैसले का विरोध करते हुए आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब ने प्रदेश भर में केंद्र सरकार के खिलाफ रोष प्रकट किया और मोदी सरकार के पुतले फूंके। `आप’ कार्यकर्ताओं और नेताओं ने बीएसएफ के अधिकार क्षेत्र में बढ़ोतरी करने के खिलाफ जहां नरेंद्र मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की, वहीं पंजाब की चन्नी सरकार पर पंजाब के अधिकारों की सुरक्षा करने में विफल होने का आरोप लगाया है।

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पार्टी मुख्यालय से सोमवार को जारी बयान में नेता प्रतिपक्ष हरपाल सिंह चीमा ने जानकारी दी कि केंद्र के इस तानाशाही और साजिश भरे फैसले के खिलाफ आम आदमी पार्टी के नेताओं और कार्यकर्ताओं ने मोहाली, अमृतसर, जालंधर, बठिंडा, लुधियाना, फाजिल्का, फिरोजपुर समेत सभी जिलों में रोष प्रकट करके प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह के पुतले फूंके और बीएसएफ के बढ़ाए गए अधिकार वापस लेने की मांग की।

चीमा ने कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाली केंद्र सरकार एक बड़ी साजिश के तहत राज्यों के अधिकारों पर डाका मार रही है। ताजा फैसला पंजाब के अधिकारों पर मारा गया डाका और देश के संघीय ढांचे पर बड़ा हमला है, जिसे पंजाब के नागरिक कभी भी सहन नहीं करेंगे। इसलिए `आप’ कार्यकर्ताओं द्वारा राज्य भर में केंद्र सरकार के खिलाफ रोष प्रकट किया गया।
चीमा ने बताया कि बीएसएफ अब पंजाब पुलिस के बिना ही पासपोर्ट, कस्टम ड्यूटी और एनडीपीएस कानून के तहत घरों की तलाशी और गिरफ्तारियां भी कर सकेगी। इस फैसले के साथ राज्य के कुल 50,632 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र से करीब 27,600 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र बीएसएफ के अधिकार क्षेत्र में आ जाएगा।

नेता प्रतिपक्ष ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि मोदी सरकार ने पहले ही काले कृषि कानून राज्यों की सहमति से बिना बनाए और अब राज्यों के अंदरूनी सुरक्षा के अधिकार भी छीने जा रहे हैं। बीएसएफ के अधिकारों में बढ़ोतरी करके अप्रत्यक्ष तौर पर पंजाब को लूटने के प्रयास किए जा रहे हैं।

हरपाल सिंह चीमा ने मांग की है कि मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी केंद्र सरकार के फैसले के खिलाफ पंजाब के सभी राजनीतिक दलों की मीटिंग बुलाएं और सभी दलों का एक संयुक्त प्रतिनिधि मंडल सरकार से फैसला वापस करवाने के लिए एकजुट होकर एकसाथ दबाव बनाए। इसके साथ ही चीमा ने पंजाब विधानसभा का एक विशेष सत्र बुलाने की मांग भी की है, ताकि केंद्र सरकार के फैसले को सर्वसम्मति से रद्द किया जाए।