चंडीगढ़, 12 मई:
राज्य में ऑक्सीजन प्लांट लगाने में अनावश्यक देरी सम्बन्धी सांसद श्वेत मलिक के बयान को शर्मनाक करार देते हुए स्वास्थ्य मंत्री स. बलबीर सिंह सिद्धू ने उन पर दोष लगाने की बजाय पंजाब में जल्द से जल्द ऑक्सीजन प्लांट लगाने के लिए भारत सरकार पर दबाव डालने के लिए कहा है।
स. सिद्धू ने कहा कि पंजाब में कोविड मामलों और मृत्यु दर में तेज़ी से वृद्धि होने से मैडीकल इमरजेंसी वाला माहौल बना हुआ है और ऑक्सीजन कोटे को बढ़ाने के लिए पंजाब सरकार द्वारा बार-बार अपील करने के बावजूद भी भारत सरकार द्वारा राज्य की ज़रूरत की ओर कोई ध्यान नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि फरीदकोट में सिफऱ् 1 प्लांट पीएसए (1000 एलपीएम) स्थापित किया गया है, जिसको मार्च 2021 में चालू किया गया है।
पंजाब सरकार द्वारा बार-बार याद कराने और आग्रह करने के बावजूद, भारत सरकार द्वारा अभी भी जी.एम.सी.एच. अमृतसर और पटियाला में दो प्लांट स्थापित नहीं किए गए।
स. सिद्धू ने कहा कि 12 अक्तूबर 2020 को भारत सरकार द्वारा कहे अनुसार 3 मैडीकल कॉलेजों (अमृतसर, पटियाला और फरीदकोट) में पीएसए प्लांटों को स्थापित करने की माँग निर्धारित फॉर्मेट में भेजी गई जिसके अंतर्गत पहले पड़ाव के दौरान प्लांट 15 अक्तूबर, 2020 तक भारत सरकार द्वारा सैंट्रल मैडीकल सर्विसिज़ सोसायटी के द्वारा स्थापित किए जाने थे। उन्होंने कहा कि 2 नवंबर, 2020 को केंद्र सरकार ने देश में लगाए जाने वाले 162 पीएसए प्लांटों की सूची जारी की, जिसमें पंजाब में स्थापित किए जाने वाले यह 3 प्लांट शामिल थे।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने 31 दिसंबर, 2020 को साइट तैयार करने के सर्टिफिकेट जैसे कि शैड, प्लेटफॉर्म और जैनसैट आदि भारत सरकार को भेजकर सभी ज़रुरी कार्यों को पूरा किया। उन्होंने आगे कहा कि यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि पंजाब में सिफऱ् फरीदकोट में अब तक सिफऱ् एक प्लांट लगाया गया है।
स. सिद्धू ने कहा कि पता लगा है कि अमृतसर और पटियाला में प्लांट स्थापित करने सम्बन्धी भारत सरकार ने ठेकेदार (उत्तम एयर) को काम दिया था, परन्तु उसने यह काम शुरू करने से मना कर दिया था और यह ठेका 17 अप्रैल 2021 को एक नए विक्रेता ऐरोक्स को दिया गया है।
जि़क्रयोग्य है कि सभी 50 बिस्तरों वाले सरकारी अस्पतालों को पीएसए प्लांट से जोडऩे सम्बन्धी कार्य युद्ध स्तर पर जारी है।

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