(शिरोमणी अकाली दल ने उन आवेदकों की सहायता की जिन्हे नामांकन दाखिल करने की अनुमति नही दी गई, कहा कि कल उच्च न्यायालय में 300 से अधिक याचिकाएं दायर होने की संभावना है)
चंडीगढ़/10अक्टूबर 2024
शिरोमणी अकाली दल ने आज जोर देकर कहा है कि मुख्यमंत्री भगवंत मान और राज्य चुनाव आयोग(एसईसी) स्वतंत्र और निष्पक्ष पंचायत चुनाव कराने के अपने कर्तव्य में विफल रहे हैं तथा सभी के लिए समान अवसर सुनिश्चित करने के लिए पूरी प्रक्रिया को नए सिरे से अधिसूचित करने की मांग की है।
यहां एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए पार्टी के वरिष्ठ नेता डाॅ. दलजीत सिंह चीमा और लीगल सेल के अध्यक्ष सरदार अर्शदीप सिंह कलेर ने 48 याचिकाओं को राहत देने के लिए पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट का आभार व्यक्त किया, जिन्होने कहा था कि उन्हे पंचायत चुनाव प्रक्रिया से जबरदस्ती बाहर रखा गया। उन्होने कहा कि कल 300 और याचिकाएं दायर होने की संभावना है।
यहां पार्टी कार्यालय में बड़ी संख्या में शिकायतकर्ता एकत्र हुए और उन्हें अपनी याचिकाएं दायर करने में सहायत की गई, जिन्हे कल उच्च न्यायालय में प्रस्तुत किया जाएगा। इस अवसर पर मीडिया से बात करते हुए शिकायतकर्ताओं ने कहा कि उनके नामांकन यां तो स्वीकार नही किए गए यां बाद में रदद कर दिए गए यां तक कि जांच प्रक्रिया के बाद गलत तरीके से पेश किए गए । एक शिकायतकर्ता ने बताया कि कैसे उनका नामांकन पत्र खारिज कर दिया गया क्योंकि उसने कथित तौर पर अपने पानी के बिल का भुगतान नही किया था, जबकि उसके घर में पानी का कनेक्शन नही था। इसी तरह अन्य आवेदकों ने बातया कि कैसे लाइनों में खड़े होने के बावजूद उनके नामांकन स्वीकार नही किए गए जबकि कई अन्य ने बताया कि कैसे उनके नामांकन पत्र फाड़ दिए गए है। एक आवेदन ने यह भी बताया कि जब उसने अपने कागजात स्वीकार करने पर जोर दिया तो पुलिस ने उसकी पिटाई की जबकि दूसरे ने कहा कि उसके कागजात रदद करने के लिए पटवारी की झूठी रिपोर्ट संलग्न की गई।
डाॅ. चीमा ने बताया कि कैसे पार्टी ने कई मौंकों पर कई बार राज्य चुनाव आयोग से संपर्क किया, लेकिन उसके आयुक्त ने उन्हे सौंपी गई किसी भी शिकायत पर कार्रवाई करने से इंकार कर दिया। उन्होने कहा कि राज्य चुनाव आयोग ने कोई आब्जर्वर भी नियुक्त नही किया, जबक यह उजागर किया गया था कि कैसे अन्य सभी उम्मीदवारों के नामांकन पत्र खारिज करने के बाद गिददड़बाहा के 25 सरपंचों को निर्विरोध कैसे चुना गया ।
इस अवसर पर बोलते हुए सरदार अर्शदीप सिंह कलेर ने कहा कि यह राज्य के इतिहास में पहली बार हुआ है कि उच्च न्यायालय ने चल रही प्रक्रिया के दौरान चुनाव से संबंधित याचिकाओं पर रोक लगाई है। उन्होने कहा,‘‘ यह न्यायालय के समक्ष वीडियोग्राफिक सबूत पेश करने के बाद किया गया है कि कैसे आवेदकों को पंचायत चुनाव लड़ने के उनके मौलिक अधिकार से वंचित किया गया ।’’
सरदार कलेर ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान और राज्य के डीजीपी दोनों ही स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के अपने कर्तव्य में विफल रहे हैं। उन्होने पूरे मामले की उच्च न्यायालय की निगरानी में जांच का आदेश दिए जाने की मांग की ताकि लोकतंत्र की आवाज को दबाने की जिम्मेदारी तय की जा सके और दोषियों के खिलाफ उचित कार्रवाई की जा सके। उन्होने उन सभी लोगों से अपील की है जिन्हे आप के पदाधिकारियों ने पंचायत चुनाव में भाग लेने के अवसर से वंचित कर दिया, वे अकाली दल की लीगल सेल संपर्क करें जो उच्च न्यायालय में उनकी याचिका दायर करने में उनकी सहायता करेगा। लीगल सेल के जनरल सचिव जसप्रीत सिंह बराड़ ने पार्टी कार्यालय में शिकायतों के संग्रह की निगरानी की । इस अवसर पर गुरप्रीत सिंह राजुखन्ना भी उपस्थित थे।

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