अकाली दल अध्यक्ष ने केंद्र और समान विचारधारा वाले राजनीतिक दलों के साथ वार्ता के लिए प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व किया

SAD meeting

शिरोमणी अकाली दल ने भारत सरकार से अपील की है कि जितनी देर तक कृषि आर्डिनेंस बारे किसानों के संदेह दूर नही होते, उतनी देर तक आर्डिनेंस संसद में पेश न किए जाएं

कोर कमेटी की अध्यक्षता करते हुए पार्टी अध्यक्ष सरदार सुखबीर सिंह बादल ने कहा कि ‘अन्नदाता’ की समस्याओं का समाधान करना उनकी जिम्मेदारी है

चंडीगढ़/12सिंतबर: शिरोमणी अकाली दल ने आज केंद्र सरकार से अपील की है कि जब तक किसान संगठनों के साथ साथ किसानों और मजदूरों के संदेह दूर नही किए जाते तब तक तीनों केंद्रीय कृषि अध्यादेशों को संसद में मंजूरी के लिए पेश न किया जाए।

इस संबधी यहां पार्टी के मुख्य कार्यालय में शिरोमणी अकाली दल की कोर कमेटी की मीटिंग की अध्यक्षता में यह निर्णय लिया गया है।

यहां पार्टी की विज्ञप्ति में कहा गया है कि कोर कमेटी ने महसूस किया है कि ‘अन्नदाता’ की समस्याओं को दूर करना उनकी जिम्मेदारी है और जोर देकर कहा कि शिरोमणी अकाली दल किसानों द्वारा उठाए गए सभी मुददों को केंद्र सरकार के पास उठाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। कमेटी ने कहा कि अकाली दल अध्यक्ष की लीडरशीप में पिछले कुछ दिनों के दौरान किसान संगठनों, किसान प्रतिनिधियों और खेत मजदूर के प्रतिनिधियों से मुलाकात की थी। इसने जमीनी स्तर के पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ साथ पार्टी लीडरशीप की राय लेने के अलावा कृषि विशेषज्ञों के साथ विचार विमर्श किया । विज्ञप्ति में कहा गया है कि जब तक शिरोमणी अकाली दल को बताई गई आंशकाओं का समाधान नही किया जाता तब तक केंद्र सरकार को तीन केंद्रीय अध्यादेशों को पारित करने में जल्दबाजी नही करनी चाहिए।

सरदार सुखबीर सिंह बादल ने कोर कमेटी को बताया कि उनसे किसानों के साथ साथ आसपास के राज्यों के कृषि संगठनों ने भी संपर्क किया है और सभी ने केंद्रीय अध्यादेशों के बारे आंशका जताई थी और अकाली दल अपने मुददों और शिकायतों को केंद्रीय लीडरशीप के सामाने उठाने का आग्रह किया था। ‘ इसे ध्यान में रखते हुए अकाली दल अध्यक्ष का यह भी मानना है कि केंद्र द्वारा चिंताओं पर विचार किया जाना चाहिए।

इस बीच कोर कमेटी ने महसूस किया कि यह उचित है कि अकाली दल अध्यक्ष केंद्र सरकार के साथ किसानों की चिंताओं पर चर्चा करने के लिए एक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करें। यह प्रतिनिधिमंडल आने वाले दिनों में किसानों की आशंकाओं को दूर करने के लिए केंद्र सरकार के साथ साथ अन्य समान विचारधारा वाले दलों के साथ मीटिंग करेगा।

कोर कमेटी ने यह भी प्रस्ताव पारित किया कि चाहे जो भी हो जाए वह किसानों के हितों के साथ समझौता नही करेगी । ‘सरदार परकाश सिंह बादल भारत के किसानों के निर्विवाद नेता बने रहें हैं। किसान हमारी पार्टी का जीवन और रक्त है। हमने हमेशा किसानों और खेत मजूदर सहित किसान समुदाय के हितों की रक्षा के लिए संघर्ष किया है तथा ऐसा ही करते रहेंगे। अकाली दल अध्यक्ष ने कोर कमेटी के सदस्यों से कहा कि हमारे किसानों के भविष्य की रक्षा सुनिश्चित करने के लिए कोई भी बलिदान बहुत बड़ा नही है।

कोर कमेटी की मीटिंग में शामिल पार्टी के वरिष्ठ नेताअेां में बलविंदर सिंह भूंदड़, जत्थेदार तोता सिंह, प्रोफेसर प्रेम सिंह चंदूमाजरा, चरनजीत सिंह अटवाल, निर्मल सिंह काहलों, महेशइंदर सिंह ग्रेवाल, गुलजार सिंह रणीके, जनमेजा सिंह सेखों, सिकंदर सिंह मलूका, डॉ. दलजीत सिंह चीमा, हीरा सिंह गाबड़िया, बलदेव सिंह मान, जगमीत सिंह बराड़ तथा मनजिंदर सिंह सिरसा शामिल थे।