एम.एस.एम.ई को बहाल करने के अलावा सभी फसलों पर एम.एस.पी को वास्तविकता बनाने के लिए फंड आवंटित किए जाने की मांग की
बठिंडा की सांसद बीबा हरसिमरत कौर बादल ने आज कहा है कि केंद्रीय बजट में पंजाब के साथ भेदभाव किया गया हे और एमएसएमई क्षेत्र को बहाल करने के अलावा सभी 22 फसलों पर एमएसपी को वास्तविकता बनाने के लिए फंड आवंटित किए जाने की मांग की है।
संसद में संबोधित करते हुए बीबा बादल ने कहा कि यह बेहद निंदनीय है कि नीति आयोग के वित्तीय स्वास्थ्य सूचकांक में पंजाब 10.7फीसदी के साथ सबसे निचले पायदान पर है, जबकि उड़ीसा का स्कोर 67.8फीसदी है। उन्होने कहा कि इस घटना के लिए मौजूदा आम आदमी पार्टी की सरकार और पिछली कांग्रेस सरकार जिम्मेदार है, लेकिन केंद्र सरकार ने राज्य की मदद करने के लिए कोई कोशिश नही की है।
बीबा हरसिमरत कौर बादल ने बेरोजगारों की दुर्दशा के बारे में बात करते हुए कहा कि माध्यमिक और उच्च शिक्षा प्राप्त बेरोजबार नौजवानों का 2002 में 35फीसदी था जबकि 2022 में यह बढ़कर 65 फीसदी हो गया । उन्होने यह भी बताया कि कैसे सरकार ने बढ़ते कंप्यूटरीकरण और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के कारण छंटनी से निपटने के लिए कोई भी रणनीति नही बनाई है।
बठिंडा सांसद ने इस बात पर ध्यान केंद्रित करते हुए बताया कि एमएसएमई क्षेत्र के साथ किस तरह से अन्याय किया गया गया जो देश के सकल घरेलू उत्पाद में 30 फीसदी और कुल निर्यात में 50 फीसदी का योगदान देता है। उन्होने कहा कि के्रडिट लिंक्ड कैपिटल सब्सिडी योजना को और अधिक उदार बनाने के बजाय इसे बंद कर दिया गया है। उन्होने यह भी बताया कि साइकिल पर आयात शुल्क को 35 फीसदी से घटाकर 20 फीसदी करने से साइकिल उद्योग चरमरा जाएगा।
बठिंडा सांसद ने केंद्र सरकार से अमेरिकी सरकार के दबाव में नही आने का आश्वासन मांगते हुए कहा जोकि कृषि क्षेत्र में आयात खोलने की मांग कर रही है। उन्होने कहा,‘‘ अगर इस क्षेत्र में आयात की अनुमति दी गई तो हमारे किसान बहुत बुरी तरह से प्रभावित होंगें।’’

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