यूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की

YAD President Parambans Singh Romana

कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़, 08सितंबर- यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16ण्91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ष्श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ष्मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16ण्91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8ण्53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध्08सितंबररू यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16ण्91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ष्श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ष्मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16ण्91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8ण्53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया थाए जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थीए जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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ShreeDev0714
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ङ्कश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ङ्कमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ङ्कश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ङ्कमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Baraha
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Amar or Kundali
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यूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध्०८सितंबररू यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६ण्९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६ण्९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८ण्५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध्०८सितंबररू यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६ण्९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६ण्९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८ण्५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया थाए जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थीए जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलवfंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हfरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कf यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रfश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जfन्होने पfछले साल उपचुनाव लड़ने के लfए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दfया था: सरदार परमबंस सfंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सfतंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रfश्वत की रसीद को उजागर करने के लfए पूर्व समाज कल्याण नfदेशक बने कांग्रेस वfधायक बलवfंदर सfंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हfरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कf इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सfंह धर्मसोत और कांग्रेस वfधायक समेत एस.सी स्कॉलरशfप घोटाले के सभी दोषfयों के खfलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सfंह रोमाणा ने कहा कf नfजी शfक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलवfंदर सfंह धालीवाल के अभfयोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कf अधfकारी ने पfछले साल फगवाड़ा वfधानसभा उपचुनाव के लfए कांग्रेस का टfकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगfंदर सfंह मान सहfत कांग्रेस के वरfष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टfकट दfए जाने से कुछ दfन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कf अनुसूचfत जातf स्कॉलरशfप के कारण दलfत छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सfंह रोमाणा ने कहा कf यह पता लगाने की जरूरत है कf प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरfंदर सfंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधfकारी से समझौता कर लfया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरfंदर सfंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जfससे यह पता चलता है कf उनकी घोटालेबाजों के साथ मfलीभगत है। अब श्री बलवfंदर धालीवाल से पूछताछ के लfए जरूरी है कf उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जfन्होने लाखों दलfत छात्रों के भवfष्य को धूमfल कfया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशfप घोटाले की जांच के लfए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कf इस कमेटी ने अतfरfक्त मुख्य सचfव की रfपोर्ट से यह साबfत होने के बाद प्रासंगfकता खो दी थी कf अनुसूचfत जातf कल्याण मंत्री साधु सfंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यfा थे और श्री बलवfंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशfप फीस को अनुसूचfत जातf के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचfव द्वारा अपनी रfपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चfट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दfया है। सरदार रोमाणा ने कहा कf धन की जांच के लfए प्रवर्तन नfदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कf धालीवाल ने न केवल अपात्र नfजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कf चौदह नfजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दfया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलवfंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हfरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कf यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रfश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जfन्होने पfछले साल उपचुनाव लड़ने के लfए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दfया था: सरदार परमबंस सfंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सfतंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रfश्वत की रसीद को उजागर करने के लfए पूर्व समाज कल्याण नfदेशक बने कांग्रेस वfधायक बलवfंदर सfंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हfरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कf इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सfंह धर्मसोत और कांग्रेस वfधायक समेत एस.सी स्कॉलरशfप घोटाले के सभी दोषfयों के खfलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सfंह रोमाणा ने कहा कf नfजी शfक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलवfंदर सfंह धालीवाल के अभfयोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कf अधfकारी ने पfछले साल फगवाड़ा वfधानसभा उपचुनाव के लfए कांग्रेस का टfकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगfंदर सfंह मान सहfत कांग्रेस के वरfष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टfकट दfए जाने से कुछ दfन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कf अनुसूचfत जातf स्कॉलरशfप के कारण दलfत छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सfंह रोमाणा ने कहा कf यह पता लगाने की जरूरत है कf प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरfंदर सfंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधfकारी से समझौता कर लfया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरfंदर सfंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जfससे यह पता चलता है कf उनकी घोटालेबाजों के साथ मfलीभगत है। अब श्री बलवfंदर धालीवाल से पूछताछ के लfए जरूरी है कf उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जfन्होने लाखों दलfत छात्रों के भवfष्य को धूमfल कfया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशfप घोटाले की जांच के लfए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कf इस कमेटी ने अतfरfक्त मुख्य सचfव की रfपोर्ट से यह साबfत होने के बाद प्रासंगfकता खो दी थी कf अनुसूचfत जातf कल्याण मंत्री साधु सfंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यfा थे और श्री बलवfंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशfप फीस को अनुसूचfत जातf के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचfव द्वारा अपनी रfपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चfट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दfया है। सरदार रोमाणा ने कहा कf धन की जांच के लfए प्रवर्तन नfदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कf धालीवाल ने न केवल अपात्र नfजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कf चौदह नfजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दfया था। उन्होने कहा कf धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरfक नोट जारी कfया था जfसमें वfत्त वfभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडfट कराने के लfए कहा गया था, जfसमें केवल उन संस्थानों को ऑडfट करने की बात कही गई थी, जfन्हें स्पेशल ऑडfट में छोड़ दfया गया था।
ने कहा कf धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरfक नोट जारी कfया था जfसमें वfत्त वfभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस। सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस। सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाः सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़्र08सितंबरः यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस। सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस। सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16। 91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस। सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16। 91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8। 53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस। सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस। सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाः सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़्र08सितंबरः यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस। सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस। सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16। 91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस। सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16। 91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8। 53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस॥सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है। जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस॥सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाष् सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबरष् यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस॥सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस॥सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६॥९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह। कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ल्लश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं।जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस॥सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ल्लमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है। इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६॥९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी। बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८॥५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस॥सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है। जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस॥सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाष् सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबरष् यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस॥सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस॥सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६॥९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़। मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह। कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ल्लश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं।जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस॥सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ल्लमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है। इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६॥९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी। बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८॥५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था। जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी। जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 1स्न.ष्ठ1 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत स्न3करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 1स्न.ष्ठ1 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.स्त्र3 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 1स्न.ष्ठ1 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत स्न3करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 1स्न.ष्ठ1 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.स्त्र3 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई श्च01ष्ठ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई श्च01ष्ठ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। घ्श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। घ्मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। घ्श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। घ्मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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DVW-TTSurekh Normal
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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श्रीलिपि715
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। 1श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। 1मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। 1श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। 1मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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ShreeLipi DevaRatna Universal
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। मश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ममुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। मश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ममुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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SHREE-SAN-0962
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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SHREE708
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Shree714
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Shivaji
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यूथ अकाली दल ने एस।सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस।सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़्र08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस।सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16।91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16।91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8।53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस।सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस।सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़्र08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस।सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16।91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16।91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8।53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Vedic97 (MaharShi Univ)
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यूथ अकाली दल ने एसभसी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैण जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसभसी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाख् सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध08सितंबरख् यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसभसी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसभसी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16भ91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ण मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहण कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। क्कश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंणजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसभसी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। क्कमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैण इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16भ91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीण बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8भ53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एसभसी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैण जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसभसी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाख् सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध08सितंबरख् यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसभसी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसभसी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16भ91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ण मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहण कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। क्कश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंणजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसभसी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। क्कमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैण इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16भ91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीण बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8भ53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया थाण जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थीण जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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4CGandhi
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ह्यश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ह्यमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ह्यश्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ह्यमुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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APS-C-DV-Prakash
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16.91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16.91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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APS-DV-PRAKASH
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/०८सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से १६.९१ करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत ६३करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को १६.९१ करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर ८.५३ करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई २०१९ में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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Chandni
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यूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध्08सितंबररू यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16ण्91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16ण्91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8ण्53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एसण्सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता हैए जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एसण्सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थारू सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़ध्08सितंबररू यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एसण्सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16ण्91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़ए मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंहए कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैंएजिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एसण्सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी हैए इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16ण्91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थीए बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8ण्53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया थाए जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थीए जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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AkrutiDevChanakya07
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यूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से ङ्क6.9ङ्क करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 6य्करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को ङ्क6.9ङ्क करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.5य् करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस.सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस.सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया था: सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबर: यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस.सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से ङ्क6.9ङ्क करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस.सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 6य्करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को ङ्क6.9ङ्क करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8.5य् करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई ङ्ग0ङ्क9 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई ङ्ग0ङ्क9 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो

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यूथ अकाली दल ने एस।सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस।सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबरष यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस।सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16।91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16।91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8।53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होयूथ अकाली दल ने एस।सी घोटाले में बलविंदर धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की
कहा कि यह प्रदेश कांग्रेस और एचसी द्वारा धालीवाल से रिश्वत और धन की प्राप्ती को उजागर कर सकता है, जिन्होने पिछले साल उपचुनाव लड़ने के लिए एस।सी कल्याण के डॉयरेक्टर के पद से इस्तीफा दे दिया थाष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा
चंडीगढ़/08सितंबरष यूथ अकाली दल ने आज प्रदेश कांग्रेस के साथ साथ कांग्रेस हाईकमान द्वारा पैसे और रिश्वत की रसीद को उजागर करने के लिए पूर्व समाज कल्याण निदेशक बने कांग्रेस विधायक बलविंदर सिंह धालीवाल की सीबीआई जांच और हिरासत में पूछताछ की मांग की है। उन्होने कहा कि इसके साथ ही एस।सी कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत और कांग्रेस विधायक समेत एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले के सभी दोषियों के खिलाफ आंदोलन तेज करने की घोषणा की है।
यहां एक प्रेस बयान जारी करते हुए यूथ अकाली दल के अध्यक्ष सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि निजी शिक्षण संस्थानों को गलत तरीके से 16।91 करोड़ रूपये बांटने में बलविंदर सिंह धालीवाल के अभियोग के बाद यह स्पष्ट हो गया था कि अधिकारी ने पिछले साल फगवाड़ा विधानसभा उपचुनाव के लिए कांग्रेस का टिकट खरीदा था। पूर्व मंत्री जोगिंदर सिंह मान सहित कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं की अनदेखी के बाद फगवाड़ा से पार्टी का टिकट दिए जाने से कुछ दिन पहले इस्तीफा देने के बाद श्री धालीवाल एकदम से उभरकर बाहर आए। इसका एकमात्र कारण यह था कि अनुसूचित जाति स्कॉलरशिप के कारण दलित छात्रों के फंडों में हेराफेरी करने के बाद उनके पास अपार धन था।
इस मामले में सीबीआई जांच आवश्यक बताते हुए सरदार परमबंस सिंह रोमाणा ने कहा कि यह पता लगाने की जरूरत है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सुनील जाखड़, मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह, कांग्रेस पंजाब मामलों की प्रभारी आशा कुमारी और पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी सभी ने पूर्व अधिकारी से समझौता कर लिया था। ‘श्री सुनील जाखड़ और कैप्टन अमरिंदर सिंह घोटाले को दबाने का प्रयास कर रहे हैं,जिससे यह पता चलता है कि उनकी घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत है। अब श्री बलविंदर धालीवाल से पूछताछ के लिए जरूरी है कि उन सभी लोगों से पूछताछ की जाए जिन्होने लाखों दलित छात्रों के भविष्य को धूमिल किया है।
यूथ अकाली दल अध्यक्ष ने एस।सी स्कॉलरशिप घोटाले की जांच के लिए मुख्यमंत्री द्वारा बनाई गई नकली कमेटी को भी तत्काल समाप्त करने की मांग की। उन्होने कहा कि इस कमेटी ने अतिरिक्त मुख्य सचिव की रिपोर्ट से यह साबित होने के बाद प्रासंगिकता खो दी थी कि अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री साधु सिंह धर्मसोत 63करोड़ रूपये के घोटाले के मुख्यिा थे और श्री बलविंदर धालीवाल ने उनकी स्कॉलरशिप फीस को अनुसूचित जाति के छात्रों को लूटने में उनकी सहायता की थी। ‘मुख्यमंत्री ने इस मामले में मुख्य सचिव द्वारा अपनी रिपोर्ट पेश करने से पहले ही धर्मसोत को क्लीन चिट दे दी है, इस तथ्य से जांच को बेकार कर दिया है। सरदार रोमाणा ने कहा कि धन की जांच के लिए प्रवर्तन निदेशालय द्वारा की जा रही जांच ही इस मामले में सच्चाई सामने ला सकती है।
सरदार रोमाणा ने कहा कि धालीवाल ने न केवल अपात्र निजी संस्थाओं को 16।91 करोड़ जारी करने की मंजूरी दी थी, बल्कि चौदह निजी संस्थानों पर 8।53 करोड़ रूपये की वसूली को भी नकार दिया था। उन्होने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दोबारा ऑडिट कराने के लिए कहा गया था, जिसमें केवल उन संस्थानों को ऑडिट करने की बात कही गई थी, जिन्हें स्पेशल ऑडिट में छोड़ दिया गया था।
ने कहा कि धालीवाल ने जुलाई 2019 में आंतरिक नोट जारी किया था जिसमें वित्त विभाग के उस नोट को जानबूझ कर गलत तरीके से गलत ठहराने के बाद दो