उपराष्ट्रपति ने कहा कि भारत में संवैधानिक प्रजातंत्र की नींव बेहद मज़बूत है
उपराष्ट्रपति ने सेंट्रल इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (CEL) के स्वर्ण जयंती समारोह को संबोधित किया, CEL को मिनीरत्न कंपनी का दर्जा मिला
उपराष्ट्रपति ने कहा कि कुछ वर्ष पहले घाटे में चलने वाली CEL का लाभ देने वाली मिनीरत्न बनना बहुत उत्साहजनक है
CEL रोल मॉडल है, दूसरों को इसकी सफलता से प्रेरणा और ऊर्जा लेनी चाहिए – उपराष्ट्रपति
आज प्रौद्योगिक हमारे जीवन एक अभिन्न अंग; तकनीक और नवाचार जीवन को बदलने का प्रभावी मार्ग – उपराष्ट्रपति
उपराष्ट्रपति ने ग्रीन उर्जा के के क्षेत्र में बैटरी और चार्जिंग तकनीक पर शोध पर बल दिया
उपराष्ट्रपति श्री जगदीप धनखड़ ने आज कहा कि 1975 में आपातकाल लागू होने के कारण दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र अंधेरे में डूब गया था। आपातकाल के काले दिनों को याद करते हुए श्री धनखड़ ने कहा कि वे दिन फिर कभी नहीं देखने को मिलेंगे क्योंकि भारत में लोकतंत्र बहुत मजबूत है और अब गाँव, राज्य और केंद्रीय स्तर पर संवैधानिक रूप से लोकतंत्र सुदृढ़ है।
Hon’ble Vice-President, Shri Jagdeep Dhankhar presided over as Chief Guest at the Golden Jubilee Celebrations of Central Electronics Limited in Ghaziabad, Uttar Pradesh today. @celbharat @DrJitendraSingh pic.twitter.com/WCWuh6mYdT
— Vice-President of India (@VPIndia) June 26, 2024
सरकार द्वारा कुछ वर्ष पहले घाटे में चलने वाले उपक्रम CEL का विनिवेश करने की दिशा में कदम उठाये गये थे। लेकिन हाल ही में CEL ने बहुत उत्साहजनक प्रदर्शन करके लाभ अर्जित करने वाली ‘मिनीरत्न’ कंपनी बन गयी। CEL को ‘मिनीरत्न’ का दर्जा दिए जाने की सराहना करते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि CEL अन्य सभी संस्थानों के लिए एक रोल मॉडल है और इसकी सफलता से प्रेरणा लेकर उन्हें आगे बढ़ना चाहिए।
Hon’ble Vice-President, Shri Jagdeep Dhankhar unveiled the Golden Jubilee Logo of Central Electronics Limited and inaugurated the Multipurpose Hall ‘Swarn Mandapam’ in Ghaziabad, Uttar Pradesh today. @celbharat @DrJitendraSingh pic.twitter.com/0j2urHMrY5
— Vice-President of India (@VPIndia) June 26, 2024
देश मे इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण के लिए उठाए गए कदमों की सराहना करते हुए, श्री धनखड़ ने कहा कि ‘आत्मनिर्भर भारत’ हासिल करने के लिए इलेक्ट्रॉनिक्स डिजाइन और विनिर्माण के लिए स्वदेशी क्षमता निर्माण काफी महत्वपूर्ण है।
सौर ऊर्जा के क्षेत्र में सीईएल द्वारा की गई उल्लेखनीय प्रगति को रेखांकित करते हुए, उपराष्ट्रपति ने इस बात पर जोर दिया कि नवीकरणीय ऊर्जा ही भविष्य है। उन्होंने कहा कि, सीईएल के नवाचारों ने स्थायी ऊर्जा समाधानों को आम आदमी के करीब ला दिया है।
इस अवसर पर केन्द्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री डॉ जितेन्द्र सिंह, CSIR के महानिदेशक डॉ कलाइसेल्वी, CEL के CMD श्री चेतन प्रकाश जैन व अन्य गणमान्य अतिथि उपस्थित रहे।

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